चंडीगढ़: प्यार, भाईचारे और एकता की धरती पंजाब आज फिर से मानवीय मूल्यों की मिसाल पेश कर रही है. मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में राज्य सरकार ने यह साबित किया है कि शासन का असली धर्म इंसानियत की सेवा है.
मान सरकार की नीतियां धर्म, जाति या वर्ग से ऊपर उठकर हर नागरिक को समान अवसर और सम्मान देने पर केंद्रित हैं, चाहे वो तीर्थ यात्रा हो, स्वास्थ्य सेवा या सामाजिक सुरक्षा योजना. पंजाब आज पूरे देश के लिए एक आदर्श बन गया है.
मान सरकार ने बुजुर्ग नागरिकों के लिए “मुख्यमंत्री तीर्थ यात्रा योजना” शुरू की है, जो धर्मों की एकता और प्रेम का जीवंत उदाहरण है. इस योजना के तहत सिखों के लिए अमृतसर, पटना और हेमकुंट साहिब, हिंदुओं के लिए हरिद्वार और वैष्णो देवी, जबकि मुस्लिम श्रद्धालुओं के लिए अजमेर शरीफ दरगाह की मुफ्त यात्राएं कराई जाती हैं. यह पहल दिखाती है कि हर राह अंततः एक ही मंज़िल तक ले जाती है, ईश्वर तक. इस योजना का बजट 100 करोड़ रुपये किया गया है और दूसरे चरण की शुरुआत धूरी से हुई है.
पंजाब में मान सरकार ने स्वास्थ्य को सबसे बड़ी प्राथमिकता दी है. “आम आदमी क्लिनिक” योजना के तहत अब तक 881 क्लिनिक (565 ग्रामीण, 316 शहरी) संचालित हो रहे हैं, और जल्द ही 236 नए क्लिनिक खुलने जा रहे हैं. ये क्लिनिक “सबका इलाज, बिना भेदभाव के” की भावना पर आधारित हैं. साथ ही, हर परिवार को 10 लाख रुपये तक का मुफ्त स्वास्थ्य बीमा देने की योजना लागू की जा रही है, जो आर्थिक सुरक्षा के साथ समानता का भरोसा भी देती है.
मान सरकार ने अब तक 693 करोड़ रुपये की सहायता राशि जारी की है, जिससे 6 लाख 65 हजार 994 विधवाएं और निराश्रित महिलाएं लाभान्वित हो चुकी हैं. यह योजना सिर्फ आर्थिक मदद नहीं, बल्कि सम्मान और आत्मनिर्भरता की भावना को मजबूत करती है. सरकार का यह कदम बताता है कि पंजाब में सहायता धर्म देखकर नहीं, बल्कि ज़रूरत देखकर दी जाती है. यह नीति मान सरकार की करुणा और समानता की सोच को उजागर करती है.
मान सरकार ने रैलियों, सांस्कृतिक कार्यक्रमों और जनसंपर्क अभियानों के ज़रिए एकता और भाईचारे का संदेश फैलाया है. मुख्यमंत्री भगवंत मान ने यह साबित किया है कि एक सच्ची सरकार वही है, जो धर्म नहीं, इंसानियत को सर्वोपरि रखे. पंजाब की नीतियां अब पूरे देश के लिए प्रेरणा बन रही हैं — जहाँ राजनीति नहीं, सेवा सबसे बड़ी नीति है और समानता ही असली पहचान.
पंजाब में अब कोई यह नहीं पूछता कि व्यक्ति किस धर्म से है, क्योंकि सरकारी योजनाएं सबके लिए खुली हैं. मान सरकार ने दिखाया है कि जब शासन निष्पक्ष और मानवीय दृष्टिकोण से चलता है, तो दीवारें नहीं, पुल बनते हैं. यह सोच सिर्फ पंजाब तक सीमित नहीं, यह पूरे भारत के लिए एक संदेश है कि अगर एक राज्य सबको साथ लेकर चल सकता है, तो पूरा देश भी ऐसा कर सकता है.