इजराइल ने हिज्बुल्लाह के खिलाफ चल रहे ऑपरेशन में तेजी ला दी है। एक बड़े युद्ध स्तर पर तेजी से काम करते हुए इजराइल ने एक ही सप्ताह में अपने लक्ष्य को केंद्र में रखकर हवाई हमले किए है। इसमें इज़रायल की हिज़्बुल्लाह के खिलाफ़ की गई कार्रवाई का नतीजा भी पूरी दुनिया के सामने है। इजराइल ने महज 7 दिन के अंदर ही हिज्बुल्लाह के नेता हसन नसरल्लाह समेत 7 शीर्ष कमांडरों को ढेर करते हुए 72 हुरों के पास पहुंचा दिया है। इस लिस्ट में इतने ज्यादा नाम तब जुड़े तब हिज़्बुल्लाह ने गाजा में हमास के साथ मिलकर काम करा। इसके बाद ही दक्षिणी इज़रायल पर हमास ने अचानक हमला किया था।
दरअसल जिन 7 बड़े आतंकियों को मौत की नींद सुलाया गया है। उसमें कई दहशतगर्दी 1980 के दशक की शुरुआत में हिज़्बुल्लाह की स्थापना के समय से ही इससे जुड़े थे। ऐसे में यह एक बड़े आतंकी संगठन के तौर पर दुनिया के समाने चुनौती की तरह खड़े हुए। यह संगठन लेबनान की सबसे प्रभावशाली सैन्य और राजनीतिक ताकत के तौर पर भी उभरा। इन मारे गए लोगों में नबील काउक का नाम भी शामिल है। यह संगठन का अनुभवी कमांडर रह चुका था। नबील काउक1980 के दशक में हिज़्बुल्लाह में शामिल हुए था। इसे नसरल्लाह के उत्तराधिकारी के तौर पर भी माना जाता था।
1960 में एक संघर्षरत शिया परिवार में जन्मे नसरल्लाह ने धर्मशास्त्र की पढ़ाई की थी। हिजबुल्लाह की सह-स्थापना करने से पूर्व नसरल्लाह अमल आंदोलन से जुड़ा। समूह ने औपचारिक तौर पर 1985 में अपने संगठन का एलान किया। इसके लिए नसरल्लाह ने एक "खुला पत्र" जारी किया। जिसमें अमेरिका व सोवियत संघ को इस्लाम का मुख्य दुश्मन बताकर इजरायल के "विनाश" का आह्वान किया।
ऐसे मारा गया नसरल्लाह
इजरायली रक्षा बलों (आईडीएफ) ने एक रणनीति बनाई। इसमें इजरायली रक्षा बलों ने हिजबुल्लाह के मुख्यालय पर रणनीति के अतंर्गत लक्षित हवाई हमला किया। जिसके परिणामस्वरूप इनका शीर्ष नेता शेख हसन नसरल्लाह को ढ़ेर कर 72 हूरों के पास पहुंचा दिया गया। हिज्बुल्लाह के नेतृत्व में 3 दशकों से भी ज्यादा समय से चीफ बने नसरल्लाह की मौत के साथ ही संगठन शून्य हो गया।
नबील काऊक
हिजबुल्लाह नेता हसन नसरल्लाह की मौत के ठीक एक दिन बाद ही इज़राइल ने हवाई हमले में एक और उच्च रैंकिंग वाले हिजबुल्लाह कमांडर नबील काऊक को ढेर कर दिया। नबील काऊक हिजबुल्लाह भी काफी अनुभवी कमांडर था। नबील काउक 1980 के दशक में संगठन में शामिल हुए थे। दक्षिणी लेबनान में हिजबुल्लाह के सैन्य अभियानों में नबील काउक की भागीदारी रही। इसके लिए संयुक्त राज्य अमेरिका की तरफ से नबील काऊक पर साल 2020 में प्रतिबंध भी लगाया गया था। काऊक ने बतौर सैन्य कमांडर के तौर पर दक्षिण लेबनान के हिजबुल्लाह में साल 1995 से लेकर 2010 तक काम किया।
इब्राहिम अकील
वरिष्ठ हिजबुल्लाह कमांडर और कुलीन राडवान दल के प्रमुख, इब्राहिम अकील बेरूत के दक्षिणी उपनगरों पर एक इजरायली हवाई हमले में ढे़र कर दिया है। इजरायल रक्षा बलों (IDF) द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक अकील इजरायली क्षेत्र पर हमले की तैयारी कर रहा था। जिसका लक्ष्य गैलिली में समुदायों में घुसकर हमला करना था। IDF का ने यह भी बताया कि 7 अक्टूबर को वह बड़े हमले की तैयारी में था. साल 2018 में अमेरिकी राजकोष विभाग ने हिजबुल्लाह के नापाक हरकतों की वजह से अकील को विशेष नागरिक के रूप में नामित करा था। साल 2019 में, इसे अमेरिकी विदेश विभाग द्वारा "विशेष रूप से नामित वैश्विक आतंकवादी" घोषित किया था। 1980 के दशक में, अकील का नाम दुनिया के बड़े देशों में किए गए हमलों में शामिल रहा। इसमें साल 1983 में बेरूत में अमेरिकी दूतावास और अमेरिकी मरीन कॉर्प्स बैरक पर बमबारी शामिल है, इस हमले के कारण कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी।
अहमद वेहबे
राडवान बलों का कमांडर रह चुके अहमद वेहबे का नाम भी इजरायली हमलों द्वारा मारे गए दहशतगर्दों में शामिल है। लगभग 2 दशक पूर्व इसके गठन के बाद से ही समूह का विकास किया गया। इस विकास व बदलाव के दौरान अहमद वेहबे की बड़ी भूमिका रही। वह बेरूत के दक्षिणी उपनगरों में एक हवाई हमले में अकील के साथ मारा गया, इस हवाई हमले में एक इमारत भी नष्ट हो गई।
अली कराकी
कराकी ने हिजबुल्लाह के दक्षिणी मोर्चे का नेतृत्व किया। इस दौरान अली करारी ने हिज्बुल्लाह के चल रहे युद्ध में अपना सहयोग दिया। अमेरिका ने उन्हें आतंकवादी समूह के नेतृत्व में एक विशेष दर्जा भी दिया था करारी नसरल्लाह के साथ ही मारा गया था। फिलहाल इसके बारे में बेहद ही कम जानकारी उपलब्ध है।
मोहम्मद सुरूर
मोहम्मद सुरूर हिजबुल्लाह की ड्रोन इकाई का प्रमुख रहा है। इसकी मदद पहली बार इजरायल के साथ इस मौजूदा संघर्ष के दौरान ली गई। मोहम्मद सुरुर के नेतृत्व में ही हिजबुल्लाह ने इजरायल में काफी अंदर तक जाकर विस्फोटक किया टोही ड्रोन लॉन्च कर हमला किया। इजरायल की रक्षा प्रणालियों में घुसने कर उनपर हमला करने मे मोहम्मद सुरुर का काफी बड़ा हाथ रहा। जो ज्यादातर समूह के रॉकेट और मिसाइलों पर केंद्रित थे।
इब्राहिम कोबेसी
इब्राहिम कोबेसी ने हिजबुल्लाह की मिसाइल इकाई का नेतृत्व किया। शीर्ष हिजबुल्लाह कमांडर इब्राहिम मोहम्मद कोबेसी की दक्षिण बेरूत में इजरायली हमले के दौरान मौत हो गई। आईडीएफ के मुताबिक, कोबेसी ने साल 2000 में उत्तरी सीमा पर 3 इजरायली सैनिकों के अपहरण और हत्या की योजना बनाई थी।
क्योंकि नसरल्लाह का अंत हो चुका है। ऐसे में अब देखा जा रहा है कि संगठन में नसल्लाह जितना प्रभावशाली व सम्मानित कोई और नहीं है। जिस व्यक्ति को व्यापक रूप से उत्तराधिकारी माना जाता है, उत्तराधिकारी के तौर पर अभी नसरल्लाह के चचेरे भाई हाशेम सफीद्दीन पर ही सभी का ध्यान है,जो समूह के राजनीतिक मामलों की देखरेख करता है। लेकिन इसे लेकर यह कंफर्म नहीं किया गया है कि वह इस हमले में बचा भी है या नहीं। समूह की शूरा परिषद को अपना नया उत्तराधिकारी चुनने के लिए आने वाले दिनों या हफ्तों में बैठक करनी होगी।