Syria Clashes: सीरिया के पूर्व राष्ट्रपति बशर अल-असद लगभग चार महीने पहले सत्ता से बाहर हो गए थे. जिसके बाद हयात तहरीर अल-शाम और उनके सहयोगी संगठन ने राष्ट्र की सत्ता पर कब्जा कर लिया था. हालांकि इसके बाद से अपदस्थ राष्ट्रपति के वफादरों और सुरक्षाबलों के बीच जंग शुरू हो गई. अब इस लड़ाई में मरने वालों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है.
सुरक्षाबलों और लड़ाकों के इस जंग के बीच सीरिया के अंतरिम राष्ट्रपति अहमद अल-शरा का बयान सामने आया है. उन्होंने ‘अलावी अल्पसंख्यक’ लड़ाकों को आत्मसमर्पण करने की हिदायत दी है. इस हिंसा के कई वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है. इनमें अंतरिम सरकार की सेना और लड़ाकों की बीच लड़ाई की अजीब तस्वीरें सामने आई हैं.
बशर अल-असद अलावी संप्रदाय से आते हैं. उनके हटाए जाने के बाद, बड़ी संख्या में उनके समर्थक सड़क पर उतर पड़े. इन अलावी समुदाय के लोगों ने अंतरिम सीरियाई सरकार पर जमकर हमला बोला है. यह मामला धीरे-धीरे बढ़ता ही जा रहा है. हालांकि सीरिया से कई वीडियो सामने आ रहे हैं. एक वीडियो में लताकिया शहर में एक शव को कार के पीछे घसीटते हुए देखा जा सकता है. इस लड़ाई के कारण स्थानिय लोगों में डर का माहौल है. इस लड़ाई को लेकर सीरिया के रक्षा मंत्रालय ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि पूर्व राष्ट्रपति बशर अल-असद के प्रति वफादार लड़ाकों ने सुरक्षा बलों पर हमला किया है. उन्होंने बताया कि लताकिया, टारटस और जबलेह प्रांतों में कई जगहों पर ये हमले किए गए. सरकार का कहना है कि लड़ाकों ने ऑपरेशन चलाकर कई सुरक्षा बलों को मार गिराया है.
अंतरिम राष्ट्रपति अहमद अल-शरा का कहना है कि 7 मार्च को जो हुआ उसका जवाब दिया गया है. उन्होंने अलावी संप्रदाय के लड़ाकों को संबोधित करते हुए कहा कि आप लोगों ने ‘अक्षम्य ग़लती’ की. जिसका हमने बेहतरीन तरीके से जवाब भी दिया है. इस जवाब का सामना आप लोग नहीं कर पाए हैं. इससे पहले कि बहुत देर हो जाए. आप सभी अपने हथियार छोड़ कर आत्मसमर्पण कर दें. लताकिया और टारटस प्रांत, सीरिया के पश्चिमी तट पर मौजूद हैं. सीरियन ऑब्ज़र्वेटरी फ़ॉर ह्यूमन राइट्स द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक पश्चिमी तट पर लड़ाई में 250 से ज़्यादा लोग मारे गए हैं. यहां अलावी अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों का दबदबा है. लड़ाकों और सुरक्षाबलों के बीच चल रहे इस जंग में नागरिक और उनके परिवार शरण लेने के लिए लताकिया के ग्रामीण इलाकों में रूसी खमीमिम बेस में घुस गए हैं.