PM Modi ने देशवासियों को दी पोंगल की बधाई, कहा- यह त्योहार 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' की भावना को दर्शाता है

PM Modi: पीएम ने आगे कहा कि उन्हें अपने परिजनों के साथ पोंगल मनाने का मन कर रहा है. उन्होंने कहा, "आप सभी को पोंगल की हार्दिक शुभकामनाएं! इस पवित्र अवसर पर, मैं कामना करता हूं कि आपके जीवन में सुख, समृद्धि और संतुष्टि आए. आज, मुझे ऐसा लग रहा है कि मैं अपने परिजनों के साथ पोंगल मना रहा हूं."

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हाइलाइट्स

  • PM Modi ने देशवासियों को दी पोंगल की बधाई
  • कहा- यह त्योहार 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' की भावना को दर्शाता है

PM Modi: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज (रविवार) देशवासियों को पोंगल की बधाई दी है. इस दौरान उन्होंने कहा कि यह त्योहार 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत की भावना को दर्शता है.  उन्होंने यह बात राष्ट्रीय राजधानी में केन्द्रीय राज्य मंत्री (एमओएस) एल मुरुगन के आवास पर पोंगल समारोह में कही. इस दौरान पीएम मोदी ने कहा, देश ने कल लोहड़ी का त्योहार बनाया. कुछ लोग आज मकर सक्रांति मना रहे हैं  और कुछ लोग कल मनाएंगे, माघ बिहू भी आ रहा है, मैं देशवासियों को इन त्योहारों की शुभकमनाएं देता हूं."

पीएम ने आगे कहा कि उन्हें अपने परिजनों के साथ पोंगल मनाने का मन कर रहा है. उन्होंने कहा, "आप सभी को पोंगल की हार्दिक शुभकामनाएं! इस पवित्र अवसर पर, मैं कामना करता हूं कि आपके जीवन में सुख, समृद्धि और संतुष्टि आए. आज, मुझे ऐसा लग रहा है कि मैं अपने परिजनों के साथ पोंगल मना रहा हूं."

पुडुचेरी की उपराज्यपाल और तेलंगाना की राज्यपाल रहे मौजूद  

बता दें, कि इस अवसर पर पुडुचेरी की उपराज्यपाल और तेलंगाना की राज्यपाल तमिलिसाई सौंदर्यराजन भी मौजूद रहीं. इस दौरान पीएम ने कहा, "पोंगल का त्योहार 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' की भावना को दर्शाता है. एकता की यह भावना 2047 के 'विकसित भारत' को ताकत देगी. "

कृषि से जुड़े हैं सभी त्योहार: पीएम मोदी 

इस दौरान पीएम मोदी ने आगे कहा कि सभी त्योहार किसी न किसी रूप में कृषि से जुड़े हुए हैं.  "संत तिरुवल्लुर ने कहा है कि 'अच्छी फसल, शिक्षित लोग और ईमानदार व्यापारी मिलकर राष्ट्र का निर्माण करते हैं.  यह एक परंपरा है कि पोंगल पर पहली फसल भगवान को चढ़ाई जाती है.  इस परंपरा के मध्य में हमारे किसान हैं. वास्तव में, सभी हमारे त्यौहार किसी न किसी रूप में कृषि से जुड़े हुए हैं." उन्होंने कहा कि देश में तीन करोड़ से ज्यादा किसान श्री अन्न (बाजरा अनाज) के उत्पादन से जुड़े हैं.. अगर हम श्री अन्न को बढ़ावा देते हैं, तो इसका सीधा लाभ इन तीन करोड़ किसानों को ही मिलता है.